भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने बैंकिंग क्षेत्र में नए सुधारों की घोषणा करते हुए 10 जून 2025 से सभी तरह के लोन पर नए नियम लागू करने का फैसला किया है। ये नए नियम होम लोन, कार लोन, पर्सनल लोन समेत सभी तरह के बैंक लोन पर लागू होंगे जो लोन लेने वालों और बैंकों दोनों के लिए महत्वपूर्ण बदलाव लेकर आए हैं।
नए नियमों के तहत अब सभी बैंकों को लोन की ब्याज दरें और पूरी शर्तें पहले से स्पष्ट तरीके से बतानी होंगी। ग्राहकों को लोन लेने से पहले पूरी जानकारी देना अनिवार्य होगा ताकि कोई भ्रम की स्थिति न रहे। RBI का यह कदम ग्राहकों के हित में उठाया गया है जिससे उन्हें पता चल सके कि वास्तव में उन्हें कितना ब्याज और अन्य शुल्क देना होगा।
होम लोन लेने वालों के लिए अच्छी खबर यह है कि अब लोन की प्रोसेसिंग फीस पर सीमा तय कर दी गई है। कोई भी बैंक होम लोन के लिए 0.5% से ज्यादा प्रोसेसिंग फीस नहीं ले सकेगा। इसके अलावा अगर कोई ग्राहक पहले से लिए गए लोन को दूसरे बैंक से ट्रांसफर करना चाहता है तो इस प्रक्रिया को और आसान बना दिया गया है। नए नियमों के तहत बैंकों को लोन ट्रांसफर प्रक्रिया को 15 कार्यदिवसों के भीतर पूरा करना होगा।
कार लोन और पर्सनल लोन लेने वालों के लिए भी कई महत्वपूर्ण बदलाव किए गए हैं। अब सभी बैंकों को कार लोन की ब्याज दरें पारदर्शी तरीके से दिखानी होंगी और ग्राहक को पहले ही पता चल जाएगा कि उसे कुल कितनी रकम चुकानी होगी। पर्सनल लोन के मामले में ब्याज दरें क्रेडिट स्कोर के आधार पर तय की जाएंगी और जिनका CIBIL स्कोर 750 से ऊपर होगा, उन्हें कम ब्याज दरों पर लोन मिल सकेगा।
नए नियमों में सबसे महत्वपूर्ण बदलाव यह है कि अब बैंक लोन रद्द करने के लिए ज्यादा शुल्क नहीं ले सकेंगे। अगर कोई ग्राहक लोन स्वीकृत होने के 3 दिन के भीतर लोन लेने से मना कर देता है तो बैंक केवल 1000 रुपये तक का ही शुल्क वसूल सकेगा। इससे पहले बैंक अक्सर लोन रद्द करने पर भारी शुल्क वसूलते थे जिससे ग्राहकों को परेशानी होती थी।
लोन की EMI भरने में अगर किसी ग्राहक को एक-दो दिन की देरी हो जाती है तो अब बैंक उस पर ज्यादा जुर्माना नहीं लगा सकेंगे। RBI ने लेट पेमेंट पर लगने वाले जुर्माने पर भी सीमा तय कर दी है जिससे ग्राहकों को राहत मिलेगी। साथ ही अगर कोई ग्राहक अपना लोन पहले चुकाना चाहे तो बैंक प्रीपेमेंट चार्ज के नाम पर ज्यादा शुल्क नहीं ले सकेंगे।
ये सभी नए नियम 10 जून 2025 से पूरे देश में लागू हो जाएंगे। बैंकिंग विशेषज्ञों का मानना है कि ये बदलाव ग्राहकों के हित में हैं और इससे बैंकिंग प्रणाली और अधिक पारदर्शी बनेगी। RBI ने सभी बैंकों को नए नियमों का पालन सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं और कहा है कि अगर कोई बैंक इन नियमों का उल्लंघन करता पाया जाता है तो उस पर कार्रवाई की जाएगी।